"अपने आप से अपने अंदर ही एक लड़ाई लड़ रही हू।
रोज एक नए सवेरे कि उम्मीद में अंधेरे में जल रही हु।
मेरी उम्मीदें हर दिन मुझे ये एहसास दिलाते है कि तू अब पूरी तरह से टूट चुकी है।
पर मेरे जज़्बात उन्हे गलत साबित करके, हर दिन एक नाया रास्ता दिखाते है।
©ayesha Siddique
"