सर्द में सूरज की पहली किरण हूं मै हूं गर्मी में पे
"सर्द में सूरज की पहली किरण हूं मै
हूं गर्मी में पेड़ की छांव
बसंत में मै फूल की पहली कली हूं
हूं पतझड़ में सूनी सी शाम
सभी धर्म के लोग समाहित है मुझ में
दुनिया को राह दिखाने वाला
मै हूं हिंदुस्तान"
सर्द में सूरज की पहली किरण हूं मै
हूं गर्मी में पेड़ की छांव
बसंत में मै फूल की पहली कली हूं
हूं पतझड़ में सूनी सी शाम
सभी धर्म के लोग समाहित है मुझ में
दुनिया को राह दिखाने वाला
मै हूं हिंदुस्तान