सीखा और सिखाने का प्रयास किया मैंने निरंतर, कितनी | हिंदी कविता

"सीखा और सिखाने का प्रयास किया मैंने निरंतर, कितनी भी कठिनाइयां क्यों न आएं पथ पर, दुर्गम लगे चढ़ाई जीवन की, रुक मत थक कर, रुकना कोई हल नहीं, उठ फ़िर से एक और प्रयास कर, तू चलती जा जीवन की कठिन डगर पर, मिल जाएगी तुझे तेरी वो मंजिल, तू बस घबरा मत, चलती जा तू चलती जा, थोड़ा सा और धैर्य रख, जीवन है नित एक चुनौती,हर चुनौती को स्वीकार कर, जीवन की हर चुनौतियों का सामना निडर होकर कर।। ✍️ शिखा ©Shikha Yadav"

 सीखा और सिखाने का प्रयास किया मैंने निरंतर,
 कितनी भी कठिनाइयां क्यों न आएं पथ पर,
दुर्गम लगे चढ़ाई जीवन की, रुक मत थक कर,
 रुकना कोई हल नहीं, उठ फ़िर से एक और प्रयास कर,
तू चलती जा जीवन की कठिन डगर पर,
मिल जाएगी तुझे तेरी वो मंजिल, तू बस घबरा मत,
चलती जा तू चलती जा, थोड़ा सा और धैर्य रख,
जीवन है नित एक चुनौती,हर चुनौती को स्वीकार कर,
 जीवन की हर चुनौतियों का सामना निडर होकर कर।।
✍️ शिखा

©Shikha Yadav

सीखा और सिखाने का प्रयास किया मैंने निरंतर, कितनी भी कठिनाइयां क्यों न आएं पथ पर, दुर्गम लगे चढ़ाई जीवन की, रुक मत थक कर, रुकना कोई हल नहीं, उठ फ़िर से एक और प्रयास कर, तू चलती जा जीवन की कठिन डगर पर, मिल जाएगी तुझे तेरी वो मंजिल, तू बस घबरा मत, चलती जा तू चलती जा, थोड़ा सा और धैर्य रख, जीवन है नित एक चुनौती,हर चुनौती को स्वीकार कर, जीवन की हर चुनौतियों का सामना निडर होकर कर।। ✍️ शिखा ©Shikha Yadav

# जीवन का सामना निडर होकर कर

People who shared love close

More like this

Trending Topic