छोड़कर मत जाना"
इक इशारे पे तेरे ,प्यार की खातिर,
पकड़ के बांह तेरी, सब को छोड़कर चली आई।
पोत के मां-बाप के मुंह पे कालिख,बिना
परवाह किए कोई कि होगी उनकी जग हंसाई।
इतनी पागल थी तेरे प्यार में कि कुछ नहीं
सोचा, अब जाके राज ज़िन्दगी ए हकीकत जाना।
जिंदगी और मौत मेरी अब तेरे कदमों में है,
होकर नाराज किसी बात से ,छोड़ कर मत जाना।
©Anuj Ray
# छोड़कर मत जाना"