बरसात की एक शाम मैं अपने बरामदे में बैठा कोई उपन्य

"बरसात की एक शाम मैं अपने बरामदे में बैठा कोई उपन्यास पढूँ और नायिका के लिबास में तुम मेरे सामने से गुजर जाना।"

 बरसात की एक शाम
मैं अपने बरामदे में बैठा कोई उपन्यास पढूँ
और नायिका के लिबास में तुम
मेरे सामने से गुजर जाना।

बरसात की एक शाम मैं अपने बरामदे में बैठा कोई उपन्यास पढूँ और नायिका के लिबास में तुम मेरे सामने से गुजर जाना।

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