Beautiful Moon Night मोहब्बत की खुशी"
चूम के हाथ मेरा ,उसने मुझे इस
तरह से देखा, अंग अंग में है जैसे गुदगुदी उठी।
खड़ी रही में बावरी सी उसके
सामने,क्या इसी को कहते हैं "मोहब्बत की खुशी"।
उथल-पुथल सी मच गई है मेरे
सीने में, जिधर भी देखूं दिखाई देती है सूरत उसकी।
सौ बार जा चुकी हूं आइने के
सामने, क्या इसी को कहते हैं "मोहब्बत की खुशी"।
©Anuj Ray
# मोहब्बत की खुशी"