लफ्जों को समझने की औकात नहीं, बात खामोशियां समझने | हिंदी Video

" लफ्जों को समझने की औकात नहीं, बात खामोशियां समझने की करते हो, ये कैसा इश्क है? जो सिर्फ तुम्हीं करते हो। #आशी"

लफ्जों को समझने की औकात नहीं, बात खामोशियां समझने की करते हो, ये कैसा इश्क है? जो सिर्फ तुम्हीं करते हो। #आशी

People who shared love close

More like this

Trending Topic