"जीवन की सीख यहीं है,
इंसान अपने कर्मो से बड़ा या छोटा होता है।
किसी की जाती ईश्वर बना कर नहीं भेजता।
सबका काल, जीवन, और पहुंच धरती पर ही होती है।
कौन जाने मरने के बाद क्या होता है।
सुनो मेरे प्यारों जी लो हसीं खुशी।
ऐसे ही कष्ट कम हैं जो जात पात की बात करते हो।
याद रखो जहां सुई काम आती वहा तलवार नही।
बाकी सबके कर्म निश्चित हैं, सबका जीवन भी।
संत रविदास को कोटि कोटि नमन।। 😊
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