White गूंज उठे ये कुंजर भी ,
इन कलियों में पंखुड़ियां खिल सी आयी हैं ।
जीवन में अमृत बरसाने को,
ये बारिश की बूंदें धरती पे उतर आयीं है ।।
ये नन्हे नन्हे पेड़- पौधों से,
उन जंगल में हरियाली सी खिलती है ।
लाल पीली कोंपल से,
ये जीवन की छटा निराली सी होती है ।।
वृक्षों की महिमा निराली ,
प्रकृति भी इन वृक्षों से जब सजती है।
मोरों की कूंक और चिड़ियों की चहचहाहट,
इन वनों में जब ये गूंजती है ।।
वर्षा ऋतु भी अच्छी होती ,
जहां इन वृक्षों की अधिकता होती है ।
धरती रेगिस्तान बन सकती है ,
जहां इन वृक्षों की न्यूनता होती है ।।
वन क्षेत्र के संरक्षक बनकर,
वनों का महत्व समझाते रहते थे ।।
जो धरा वृक्ष विहीन हो जाये तो ,
वहां ये धरती बंजर हो जाते थे ।।
अच्छी उपजाऊ धरती में भी ,
बिन वृक्षों के कंगाली छा जाती है।।
धरती को हमको बचाना है ,
इस धरा पर खूब वृक्ष लगाना है ।
आओ हम सब वृक्ष लगाएं ,
जीवन में हरियाली की खुशियां लाए ।
घर घर में छोटे छोटे पौधे लगाकर,
उस घर संसार को उपवन बनाएं ।।
©बेजुबान शायर shivkumar
#cg_forest #Forest #Nojoto
गूंज उठे ये कुंजर भी ,
इन कलियों में पंखुड़ियां खिल सी आयी हैं ।
जीवन में अमृत बरसाने को,
ये बारिश की बूंदें #धरती पे उतर आयीं है ।।