हे गिरधर! पिया,, जो मैं होती सखी तिहारी ये जग छोड़ तुम्हें अपनाती, डाल के भांवर, पहन के चूनर निहारती तुमको पल पल इतराती, रास में तुम्हारे खोकर खुद को मैं धन्य धन्य हो जाती ©Krishnaa Harish krishna premi❣️✍️ Quotes, Shayari, Story, Poem, Jokes, Memes On Nojoto