** कुछ ऐसा कर जाऊँ,
**तेरी सारी तकलीफ, परेशानी, अपने पल्ले बांधकर,
**ले लू तेरी बलाएँ, तेरा हर दुख, दर्द मेरा हो...
**तुझे हर गम से जुदा कर जाऊँ....
****"" कुछ ऐसा कर जाऊँ "" ****
***इतनी भीड़ मे भी मैं तन्हा, हैरान सी रहीं!
***खामोश मेरी जुबा, दिल से परेशान सी रहीं!!
***कितनी अकेली हो गयी में अपनों की भीड़ में भी!
***नब्ज़ हाँ बरक़रार है, मगर जान ना रहीं!!
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