जीtendra

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तेरे इश्क में नहाकर निखर जाता हूं मैं, तेरा ख्याल जब आए संवर जाता हूं मैं...

#निखर #संवर  तेरे इश्क में नहाकर निखर जाता हूं मैं,
तेरा ख्याल जब आए संवर जाता हूं मैं...

जब आंखों से नींदों का वास्ता नहीं होता, कभी-कभी हम भी किताब खोल लेते हैं...

#नींद  जब आंखों से नींदों का वास्ता नहीं होता,
कभी-कभी हम भी किताब खोल लेते हैं...

छुपा ले ना मां, अपने आंचल में छुपा ले मां, जब से तेरी गोद छूटी है, हर रोज़ एक चोट लगी, पर दुलारने वाला कोई नहीं, अब आंसू दिखते नहीं बस अंदर ही अंदर घुट रहा हूं! बड़ा होना इतना अकेला कर देगा, सोचा ना था, बस दर्द में जी रहा हूं, आंसू पी रहा हूं, मां शायद मैं मर रहा हूं... ❤️मां❤️

#मातृदिवस #माता #मां  छुपा ले ना मां,
अपने आंचल में छुपा ले मां,
जब से तेरी गोद छूटी है,
हर रोज़ एक चोट लगी, 
पर दुलारने वाला कोई नहीं,
अब आंसू दिखते नहीं बस अंदर ही अंदर घुट रहा हूं!
बड़ा होना इतना अकेला कर देगा, 
सोचा ना था, 
बस दर्द में जी रहा हूं, 
आंसू पी रहा हूं, 
मां शायद मैं मर रहा हूं...

❤️मां❤️

कभी भाई, कभी friend, तो कभी .... बताती है, जब मैं मना करूं ... बोलने से तो यही कहकर मुझे बार बार चिढ़ाती है, पर सच्ची में रिश्ता, वो दिल से निभाती है... कभी डांटती, तो कभी समझाती है, मेरी बहन होने का फर्ज वो बड़ी समझदारी से निभाती है... मुझे वो पागल बोलती है, तो कभी "दिमाग नहीं" कहती है, लेकिन जब मैं परेशान हो जाऊं, तो intelligent भी बताती है, हालांकि हममें कोई रिश्ता नहीं, पर जो मैंने बहन का रिश्ता बनाया, कसम से पूरी शिद्दत से निभाती है... 😞😞😞

 कभी भाई,
कभी friend,
तो कभी .... बताती है,
जब मैं मना करूं ... बोलने से
तो यही कहकर मुझे 
बार बार चिढ़ाती है,
पर सच्ची में रिश्ता,
वो दिल से निभाती है...

कभी डांटती,
तो कभी समझाती है,
मेरी बहन होने का 
फर्ज वो 
बड़ी समझदारी से निभाती है...

मुझे वो पागल बोलती है,
तो कभी "दिमाग नहीं" कहती है,
लेकिन जब मैं परेशान हो जाऊं,
तो intelligent भी बताती है,
हालांकि हममें कोई रिश्ता नहीं,
पर जो मैंने बहन का रिश्ता बनाया,
कसम से पूरी शिद्दत से निभाती है...
😞😞😞

कभी भाई, कभी friend, तो कभी .... बताती है, जब मैं मना करूं ... बोलने से तो यही कहकर मुझे बार बार चिढ़ाती है, पर सच्ची में रिश्ता, वो दिल से निभाती है... कभी डांटती, तो कभी समझाती है, मेरी बहन होने का फर्ज वो बड़ी समझदारी से निभाती है... मुझे वो पागल बोलती है, तो कभी "दिमाग नहीं" कहती है, लेकिन जब मैं परेशान हो जाऊं, तो intelligent भी बताती है, हालांकि हममें कोई रिश्ता नहीं, पर जो मैंने बहन का रिश्ता बनाया, कसम से पूरी शिद्दत से निभाती है... 😞😞😞

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मर जाता है कहीं अंदर मेरा वजूद, लहज़ों में बेरुखी जब नज़र आती है... 😞😞😞— % &

#बेरुखी #लहज़ो #वजूद #नजर  मर जाता है कहीं अंदर मेरा वजूद,
लहज़ों में बेरुखी जब नज़र आती है...
😞😞😞— % &

कैलेंडर बदल जाने से कुछ नहीं बदलता, मैं कल भी मुंतजिर था और आज भी हूं...

#मुंतजिर #कैलेंडर  कैलेंडर बदल जाने से कुछ नहीं बदलता,
मैं कल भी मुंतजिर था और आज भी हूं...
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