Nishant Rai

Nishant Rai Lives in Pune, Maharashtra, India

ना ज़ख्म छुपाने के लिये, ना दर्द मिटाने के लिए, ना इश्क़ जताने के लिए, ना लोक लुभाने के लिए.. लिखता हूँ बस , खुद को खुद से मिलाने के लिए..!

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#SadStorytelling #bittertruth #Emotional #gumshuda  😭
#Dark  गवर्नमेंट ई-मार्केटप्लेस की अद्भुत दुनिया,
व्यापार सुलभ अब सहज है प्रक्रिया ,
आपूर्ति और मांग के बीच डायरेक्ट संबंध स्थापित,
जेम पोर्टल ने किया है नव कीर्तिमान स्थापित!

इंटरनेट के जादू से जुड़ा यह मंच,
सहज हुआ जिससे, अब ई-कॉमर्स,
प्रतिस्पर्धात्मक दरों पर खरीदारी का विकल्प,
जेम पोर्टल है पूर्ण पारदर्शिता का संकल्प !

छोटे और मध्यम व्यापारियों की सुरक्षा,
अद्यतित तकनीक से व्यवसाय का विकास
उन्नति पथ पर अग्रसर भारत को,
मिला जेम का तकनीकी साथ !

प्रदर्शन की सुविधा, आपूर्ति विस्तार,
एक ही स्थान पर होती है विविध बाजार।
आदान-प्रदान शिकायत निपटारा,
जेम व्यापार सफलता का आधुनिक पिटारा!

सरकार के नियंत्रण में सुरक्षित व्यापार,
सुविधा से सुसज्जित, प्रगति का सूत्रधार,
ग्राहकों को मिला है समर्पित सेवा का बाजार।
जेम आत्मनिर्भर भारत का आधार!

व्यापार प्रगति में नई ऊँचाइयों की प्राप्ति।
जेम है लाया व्यापार की नव क्रांति,
अनुकूलता और सरलता से भरपूर अवसर
राष्ट्र हित में व्यापार हो अग्रसर !

उत्पादों की विस्तृत सूची,
उपलब्ध सेवाएं भी उत्तम और ऊंची,
सुरक्षित और विश्वसनीय उड़ान,
जेम है भारत की नई दुकान !

©Nishant Rai

#Dark

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#Dark  गवर्नमेंट ई-मार्केटप्लेस की अद्भुत दुनिया,
व्यापार सुलभ अब सहज है प्रक्रिया ,
आपूर्ति और मांग के बीच डायरेक्ट संबंध स्थापित,
जेम पोर्टल ने किया है नव कीर्तिमान स्थापित!

इंटरनेट के जादू से जुड़ा यह मंच,
सहज हुआ जिससे, अब ई-कॉमर्स,
प्रतिस्पर्धात्मक दरों पर खरीदारी का विकल्प,
जेम पोर्टल है पूर्ण पारदर्शिता का संकल्प !

छोटे और मध्यम व्यापारियों की सुरक्षा,
अद्यतित तकनीक से व्यवसाय का विकास
उन्नति पथ पर अग्रसर भारत को,
मिला जेम का तकनीकी साथ !

प्रदर्शन की सुविधा, आपूर्ति विस्तार,
एक ही स्थान पर होती है विविध बाजार।
आदान-प्रदान शिकायत निपटारा,
जेम व्यापार सफलता का आधुनिक पिटारा!

सरकार के नियंत्रण में सुरक्षित व्यापार,
सुविधा से सुसज्जित, प्रगति का सूत्रधार,
ग्राहकों को मिला है समर्पित सेवा का बाजार।
जेम आत्मनिर्भर भारत का आधार!

व्यापार प्रगति में नई ऊँचाइयों की प्राप्ति।
जेम है लाया व्यापार की क्रांति,
अनुकूलता और सरलता से भरपूर अवसर
राष्ट्र हित में व्यापार हो अग्रसर !

उत्पादों की विस्तृत सूची,
उपलब्ध सेवाएं भी उत्तम और ऊंची,
सुरक्षित और विश्वसनीय उड़ान,
जेम है भारत की नई दुकान !

©Nishant Rai

#Dark

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#nojohindi_poetry #कविता #nojotoaudio #nojopoetry #nojohindi #Aspiring

स्वतंत्र है कविता,  छंदों और अलंकारों से, रस और श्रृंगारों से,  समाज के विषयों के अनुरूप,  एक तरल स्वभाव की भाँति,  मनोवांछित आकार लेने हेतु !  स्वंतत्र है कविता,  अभिव्यक्ति पर लगे बेड़ियों से,  किसी कुप्रथा के विरुद्ध, आवाज़ ऊँची करने और करारा जवाब देने हेतु, बिना किसी भूमिका या प्रस्तावना के,  मनोवांछित आकार लेने हेतु ! स्वतंत्र है कविता,  किसी शूरवीर के गुणगान हेतु, बिना किसी स्वामित्व व आधिपत्य के,  चाटुकारिता से मुक्त,  किसी सैनिक की अद्भुत शौर्यता पर, मुक्त कंठ से प्रशंसा हेतु,  वीर रस से आच्छादित होकर,  मनोवांछित आकार लेने हेतु ! स्वतंत्र है कविता,  भ्रष्टाचार के कहरों से आहत होकर, कुशासन के मय दानव से टकराने,  रौद्र रूप धारण कर प्रतिकार करने को, तीव्र गर्ज़न और शंखनाद करने को,  कल कल प्रवाह को त्याग कर, सुनामी बन विनाश करने को,  परिस्थितियाँ देख कर,  मनोवांछित आकार लेने हेतु !  स्वतंत्र है कविता,  उन्मुक्त विचरण को, नभ में पक्षी की भाँति !  स्वतंत्र है कविता,  अदम्य विसरण को, कस्तूरी सुगंध की भाँति ! ©Nishant Rai

#कविता #walkingalone #hindipoetry #nojohindi #Freedom  स्वतंत्र है कविता, 
छंदों और अलंकारों से, रस और श्रृंगारों से, 
समाज के विषयों के अनुरूप, 
एक तरल स्वभाव की भाँति, 
मनोवांछित आकार लेने हेतु ! 


स्वंतत्र है कविता, 
अभिव्यक्ति पर लगे बेड़ियों से, 
किसी कुप्रथा के विरुद्ध, आवाज़ ऊँची करने और
करारा जवाब देने हेतु, बिना किसी भूमिका या प्रस्तावना के, 
मनोवांछित आकार लेने हेतु !


स्वतंत्र है कविता, 
किसी शूरवीर के गुणगान हेतु, बिना किसी स्वामित्व व आधिपत्य के, 
चाटुकारिता से मुक्त, 
किसी सैनिक की अद्भुत शौर्यता पर, मुक्त कंठ से प्रशंसा हेतु, 
वीर रस से आच्छादित होकर, 
मनोवांछित आकार लेने हेतु !


स्वतंत्र है कविता, 
भ्रष्टाचार के कहरों से आहत होकर, कुशासन के मय दानव से टकराने, 
रौद्र रूप धारण कर प्रतिकार करने को, तीव्र गर्ज़न और शंखनाद करने को, 
कल कल प्रवाह को त्याग कर, सुनामी बन विनाश करने को, 
परिस्थितियाँ देख कर, 
मनोवांछित आकार लेने हेतु ! 


स्वतंत्र है कविता, 
उन्मुक्त विचरण को, नभ में पक्षी की भाँति ! 

स्वतंत्र है कविता, 
अदम्य विसरण को, कस्तूरी सुगंध की भाँति !

©Nishant Rai
#nojotohindipoetry #शायरी #best_of_nojoto #Imagination #nojohindi #Kalpana
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