deepti

deepti Lives in Delhi, Delhi, India

कुछ लिखने की चाह रखती हूं.. कुछ पढ़ने की चाह रखती हूं.. वक्त के साथ साथ..मैं भी बदलने की चाह रखती हूं.. ❤️❤️❤️❤️💝💝💖💔💕💕 पढ़ लेती हूं..अल्फाजो के फ़नकारों को इत्मिनान से.. कुछ समझ लेती हूं... दर्द ऐ गम उनका.. कुछ खुशियों में उनके...मैं भी खुश हो जाती हूं कभी लिख लेती हूं ..दरमियान ऐ हालात कभी यूं ही खामोश हो जाती हूं! कुछ-कुछ उतर जाती हूं शब्दों में.. कुछ कुछ खुद में ही रह जाती हूं!

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एक रात्रि का जीवन लिये....कीट.. प्रकाश प्रेम में. अंतिम सांस तक लड़ते हैं.. प्रकाश से.. प्रकाश पाने के लिए ! ना तो वह प्रकाश को जीत पाते हैं.. ना ही साथ जी... भूल जाते हैं.. आरंभ रात्रि है.. जीवन भी रात्रि.. और प्रारब्ध भी...रात्रि! .................. ..…....................... सार...उदाहरण .. एक.. जीवन के अंत तक प्रयास करना ! दूसरा.. लालसा में...प्राप्त...खो देना ! तीसरा.. प्रेम मे..स्वयं का...विलयन! ©deepti

#Truth_of_Life  एक रात्रि का जीवन लिये....कीट..
प्रकाश प्रेम में. 
अंतिम सांस तक लड़ते हैं..
प्रकाश से..
प्रकाश पाने के लिए !

ना तो वह प्रकाश को जीत पाते हैं.. 
ना ही साथ जी... 

भूल जाते हैं..
आरंभ रात्रि है..
जीवन भी रात्रि..
और प्रारब्ध भी...रात्रि!
..................
..….......................

सार...उदाहरण ..
एक..
जीवन के अंत तक प्रयास करना !
दूसरा..
लालसा में...प्राप्त...खो देना !
तीसरा..
प्रेम मे..स्वयं का...विलयन!

©deepti

ए मंजिल.. छोड़ दे तू इतराना ! अभी मेरी... तुझ से मुलाकात है बाकी मालूम है अंधेरा है.. और पूरी रात है बाकी पर..डर कर... कदम रुक जाए ? ......बिल्कुल नहीं..... अभी दिल में जिंदा है उम्मीद.. और जिंदा हूं मैं ना डगमग है हौसला मेरा.. ताकत है बाकी सब्र कर..ए मंजिल... तुझ से अभी... मुलाकात है बाकी ! मशक्कत जारी है.. उस हद तक.. जब तक मेरी... मौत है बाकी ! ©deepti

#Motivational  ए मंजिल..
छोड़ दे तू इतराना !
अभी मेरी...
तुझ से मुलाकात है बाकी 
मालूम है अंधेरा है..
और पूरी रात है बाकी
पर..डर कर...
कदम रुक जाए ?
......बिल्कुल नहीं.....
अभी दिल में जिंदा है उम्मीद..
और जिंदा हूं मैं
ना डगमग है हौसला मेरा..
ताकत है बाकी
सब्र कर..ए मंजिल...
तुझ से अभी...
मुलाकात है बाकी !
मशक्कत जारी है..
उस हद तक..
जब तक मेरी...
मौत है बाकी !

©deepti

#Thoughts

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कुछ बादल.. कुछ बरसात से हो तुम ! सर्दी में बिखरती हुई.. धूप का स्पर्श लिए.. सौगात से हो तुम ! अंधेरी रात में छटकती.. चांदनी के श्रृंगार मे हो तुम ! मधुबन में मुस्कुराती.. कुसुम बहार से हो तुम ! अधरों पर मौन.. नैनों की नमी मे हो तुम! मैं रूठूँ तुम मनाओ प्रतीक्षा में हो तुम! मेरी कविता मे अंकित.. हर अक्षर मे हो तुम ! मेरी प्रीत बहाव... प्रेम आधार हो तुम ! शब्द संकुचित... विस्तार हो तुम! ©deepti

#प्रेम  कुछ बादल.. 
कुछ बरसात से हो तुम !
सर्दी में बिखरती हुई.. 
धूप का स्पर्श लिए.. 
सौगात से हो तुम !
अंधेरी रात में छटकती..
चांदनी के श्रृंगार मे हो तुम !
मधुबन में मुस्कुराती..
कुसुम बहार से हो तुम !
अधरों पर  मौन..
नैनों की नमी मे हो तुम!
मैं रूठूँ तुम मनाओ
प्रतीक्षा में हो तुम!
मेरी कविता मे अंकित..
हर अक्षर मे हो तुम !
मेरी प्रीत बहाव...
प्रेम आधार हो तुम !
शब्द संकुचित...
विस्तार हो तुम!

©deepti

#प्रेम कुछ बादल.. कुछ बरसात से हो तुम ! सर्दी में बिखरती हुई.. धूप का स्पर्श लिए.. सौगात से हो तुम ! अंधेरी रात में छटकती.. चांदनी के श्रृंगार मे हो तुम !

143 Love

#my❤️love #fOR€v€R #Kaju😍 #For❤U #with_u

मैं तलाशता रहा सुकून बाहर.. भीतर मेरे शोर था ! सूखी पड़ी थी जमीन .. देखा ऊपर तो आसमान घनघोर था ! सशक्त था मनोबल.. पर आंखों में.. आंसुओं का जोर था ! टूटा नहीं मैं पर तोड़ा जाऊ... बईमान ताकतों का जोर था ! सबल हूं....अटल हूं.. अपनी राहों में चलता रहूंगा ! जमाना चाहे दे कितनी भी ठोकरे.. मैं आगे बढ़ता रहूंगा ! ©deepti

#Motivational #Be_confident #Be_fearless #Be  मैं तलाशता रहा सुकून बाहर.. 
भीतर मेरे शोर था !
सूखी पड़ी थी जमीन ..
देखा ऊपर तो आसमान घनघोर था !

सशक्त था मनोबल..
पर आंखों में..
आंसुओं का जोर था !
टूटा नहीं मैं पर तोड़ा जाऊ... 
बईमान ताकतों का जोर था !

सबल हूं....अटल हूं..
अपनी राहों में चलता रहूंगा !
जमाना चाहे दे कितनी भी ठोकरे..
मैं आगे बढ़ता रहूंगा !

©deepti

#Be positive #Be_fearless #Be_confident

100 Love

#AkelaMann

#AkelaMann .....written by Vivek.......

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