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#शायरी #sad_shayari  White यह आईने है जो तुम्हें कामपसंद करते हैं वह जानते हैं तुमे हम पसंद करते हैं

©Shailendra singh

#sad_shayari शायरी की डायरी

135 View

#शायरी

डायरी की शायरी और मेरी ज़िन्दगी 🔥#nojoto

171 View

#कविता  White पुरानी डायरी"

पुरानी डायरी में 
मिला है आज एक ख़त,
जिसने मेरी यादों के 
घरोंदे को कर दिया ख़तबिखत ।
मोहब्बत में किये 
प्यार के वादों को 
निभाने के लिए हमने, 
बगावत काकर लिया था फैसला।
मेरी जान बचाने के लिए 
उसने ख़ुद की बलि दे दी, 
मोहब्बत की जल के चिता, 
ख़ुद की लाश को पहना दी सुहाग की साड़ी।

©Anuj Ray

# पुरानी डायरी "

135 View

#Dosti  White न दिल होता न दिल रोता न दिल आप से जुड़ा होता न आप इतने हसीन होते न दिल आप पर फिदा होता

©Sanjeev kumar

#Dosti शायरी की डायरी with Sanjeev Kumar

63 View

White आधा चांद आधा सूरज आधा मैं बंजारों सा आधी आधी दुनिया फिर भी पूरी तुम इन तारों सा।। ©Sandeep Sagar

#शायरी #Moon  White आधा चांद आधा सूरज 
आधा मैं बंजारों सा 
आधी आधी दुनिया फिर भी 
पूरी तुम इन तारों सा।।

©Sandeep Sagar

#Moon सागर की डायरी से

14 Love

White गिरे आँखों से आँसू तो लगे बहने लगी नदियाँ कि जैसे बिन तुम्हारे कट गयी मेरी पूरी सदियाँ वो मेरी भूल थी जो तुमको मैंने प्यार था समझा नहीं तो यूँ गुजर जाती थी एक तूफ़ाँ भरी रतियाँ। मुझे अब ख़्वाब भी वो लगने लगे है यूँ परायों से की जैसे तितलियाँ उड़ने लगी है इन सरायों से तुम्हे मैं दूँ बना एक आदमी वो भी मुन्तशिर सा मगर ना दूँ तुम्हें वो दिल जो तुम भरते थे किरायों से। मुझे अब एक नदी सी घाट घाट दरिया में जानी है पहाड़ों,पेड़ पर जाना खुद ही पंछी सी ठानी है वो एक पर्वत के पीछे एक बड़ी सी शांत घाटी है वही जीना वही मरना यही बस जिंदगानी है।। ©Sandeep Sagar

#शायरी #Road  White गिरे आँखों से आँसू तो लगे बहने लगी नदियाँ 
कि जैसे बिन तुम्हारे कट गयी मेरी पूरी सदियाँ 
वो मेरी भूल थी जो तुमको मैंने प्यार था समझा
नहीं तो यूँ गुजर जाती थी एक तूफ़ाँ भरी रतियाँ।

मुझे अब ख़्वाब भी वो लगने लगे है यूँ परायों से 
की जैसे तितलियाँ उड़ने लगी है इन सरायों से 
तुम्हे मैं दूँ बना एक आदमी वो भी मुन्तशिर सा
मगर ना दूँ तुम्हें वो दिल जो तुम भरते थे किरायों से।

मुझे अब एक नदी सी घाट घाट दरिया में जानी है 
पहाड़ों,पेड़ पर जाना खुद ही पंछी सी ठानी है 
वो एक पर्वत के पीछे एक बड़ी सी शांत घाटी है 
वही जीना वही मरना यही बस जिंदगानी है।।

©Sandeep Sagar

#Road सागर की डायरी से

13 Love

#शायरी #sad_shayari  White यह आईने है जो तुम्हें कामपसंद करते हैं वह जानते हैं तुमे हम पसंद करते हैं

©Shailendra singh

#sad_shayari शायरी की डायरी

135 View

#शायरी

डायरी की शायरी और मेरी ज़िन्दगी 🔥#nojoto

171 View

#कविता  White पुरानी डायरी"

पुरानी डायरी में 
मिला है आज एक ख़त,
जिसने मेरी यादों के 
घरोंदे को कर दिया ख़तबिखत ।
मोहब्बत में किये 
प्यार के वादों को 
निभाने के लिए हमने, 
बगावत काकर लिया था फैसला।
मेरी जान बचाने के लिए 
उसने ख़ुद की बलि दे दी, 
मोहब्बत की जल के चिता, 
ख़ुद की लाश को पहना दी सुहाग की साड़ी।

©Anuj Ray

# पुरानी डायरी "

135 View

#Dosti  White न दिल होता न दिल रोता न दिल आप से जुड़ा होता न आप इतने हसीन होते न दिल आप पर फिदा होता

©Sanjeev kumar

#Dosti शायरी की डायरी with Sanjeev Kumar

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White आधा चांद आधा सूरज आधा मैं बंजारों सा आधी आधी दुनिया फिर भी पूरी तुम इन तारों सा।। ©Sandeep Sagar

#शायरी #Moon  White आधा चांद आधा सूरज 
आधा मैं बंजारों सा 
आधी आधी दुनिया फिर भी 
पूरी तुम इन तारों सा।।

©Sandeep Sagar

#Moon सागर की डायरी से

14 Love

White गिरे आँखों से आँसू तो लगे बहने लगी नदियाँ कि जैसे बिन तुम्हारे कट गयी मेरी पूरी सदियाँ वो मेरी भूल थी जो तुमको मैंने प्यार था समझा नहीं तो यूँ गुजर जाती थी एक तूफ़ाँ भरी रतियाँ। मुझे अब ख़्वाब भी वो लगने लगे है यूँ परायों से की जैसे तितलियाँ उड़ने लगी है इन सरायों से तुम्हे मैं दूँ बना एक आदमी वो भी मुन्तशिर सा मगर ना दूँ तुम्हें वो दिल जो तुम भरते थे किरायों से। मुझे अब एक नदी सी घाट घाट दरिया में जानी है पहाड़ों,पेड़ पर जाना खुद ही पंछी सी ठानी है वो एक पर्वत के पीछे एक बड़ी सी शांत घाटी है वही जीना वही मरना यही बस जिंदगानी है।। ©Sandeep Sagar

#शायरी #Road  White गिरे आँखों से आँसू तो लगे बहने लगी नदियाँ 
कि जैसे बिन तुम्हारे कट गयी मेरी पूरी सदियाँ 
वो मेरी भूल थी जो तुमको मैंने प्यार था समझा
नहीं तो यूँ गुजर जाती थी एक तूफ़ाँ भरी रतियाँ।

मुझे अब ख़्वाब भी वो लगने लगे है यूँ परायों से 
की जैसे तितलियाँ उड़ने लगी है इन सरायों से 
तुम्हे मैं दूँ बना एक आदमी वो भी मुन्तशिर सा
मगर ना दूँ तुम्हें वो दिल जो तुम भरते थे किरायों से।

मुझे अब एक नदी सी घाट घाट दरिया में जानी है 
पहाड़ों,पेड़ पर जाना खुद ही पंछी सी ठानी है 
वो एक पर्वत के पीछे एक बड़ी सी शांत घाटी है 
वही जीना वही मरना यही बस जिंदगानी है।।

©Sandeep Sagar

#Road सागर की डायरी से

13 Love

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