Ashutosh Mishra Azal

Ashutosh Mishra Azal

मरहला ऐसा भी शायद पेश अब आने को है एक पैराहन के हाथों जिस्म उतारा जाएगा ~आशुतोष मिश्रा 'अज़ल'

https://www.rekhta.org/Poets/ashutosh-mishra-azal/ghazals?lang=hi

  • Latest
  • Popular
  • Repost
  • Video
#शायरी #loveshayari #rekhta

#nojoto #rekhta #loveshayari

168 View

#शायरी #tumharebaad #rekhta

तुम्हारा प्रेम मेरे लिए सब कुछ है। ये मैं बोल नहीं रहा,बल्की लिख रहा हूँ। बोली बातें हवाई होती हैं, उनका अस्तित्व नही होता। पर लिखी हुई बातों का अस्तित्व होता है,वो दर्ज़ रहता है दस्तावेज़ में, प्रेम की किताबों में,रिश्तों के पन्नों पर युग युगांतर के लिए। हमेशा के लिए । इसलिए मैं लिख रहा हूँ-तुम्हारा प्रेम मेरे लिए सब कुछ है।

#Pattern  तुम्हारा प्रेम मेरे लिए सब कुछ है।

ये मैं बोल नहीं रहा,बल्की लिख रहा हूँ।

बोली बातें हवाई होती हैं, उनका अस्तित्व नही होता।

पर लिखी हुई बातों का अस्तित्व होता है,वो दर्ज़ रहता है दस्तावेज़ में,
प्रेम की किताबों में,रिश्तों के पन्नों पर युग युगांतर के लिए।
हमेशा के लिए ।

इसलिए मैं लिख रहा हूँ-तुम्हारा प्रेम मेरे लिए सब कुछ है।

#Pattern

6 Love

एक दरिया के सताए दो किनारे देखिए साथ होकर भी जुदाई के हैं मारे देखिए है मुक़ाबिल इस ज़मीं पर उसके कोई भी नहीं उसकी आँखें देखिए फिर वो सितारे देखिए ~आशुतोष मिश्रा 'अज़ल'

#शायरी #hindipoetry #rekhta  एक   दरिया   के   सताए   दो  किनारे  देखिए
साथ  होकर   भी  जुदाई   के  हैं  मारे  देखिए


है मुक़ाबिल इस ज़मीं पर उसके कोई भी नहीं
उसकी  आँखें  देखिए  फिर वो सितारे देखिए

~आशुतोष मिश्रा 'अज़ल'

एक मतला एक शे'र!वज़्न:-2122/2122/2122/212 #hindipoetry #rekhta

5 Love

मुझे मालूम है दरख़्त का ग़म सो लिख देता हूँ हर वर्क़ पर तुम्हारा नाम तुम्हारा नाम... जिसे लेते ही खिल उठता है मेरा चेहरा शायद खिल उठे वो कटे हुए शाख़-ए-दरख़्त फिर से काग़ज़ पर लिखे जाने के बा'द तुम्हारा नाम...

#कविता  मुझे मालूम है दरख़्त का ग़म

सो लिख देता हूँ हर वर्क़ पर तुम्हारा नाम

तुम्हारा नाम...
जिसे लेते ही खिल उठता है मेरा चेहरा

शायद खिल उठे वो कटे हुए शाख़-ए-दरख़्त फिर से

काग़ज़ पर लिखे जाने के बा'द 
तुम्हारा नाम...

तुम्हारा नाम

6 Love

समन नर्गिस कँवल नसरीन की निकहत तुम्हारे बा'द धनक बादल नदी पर्बत की है अज़्मत तुम्हारे बा'द ख़ुदा की इक हसीं कारीगरी है अपनी दुनिया और मुझे दुनिया के हर सामान की चाहत तुम्हारे बा'द ~आशुतोष मिश्रा 'अज़ल'

#शायरी  समन नर्गिस कँवल नसरीन की निकहत  तुम्हारे बा'द
धनक  बादल नदी  पर्बत  की  है अज़्मत तुम्हारे बा'द



ख़ुदा  की  इक हसीं कारीगरी  है  अपनी  दुनिया और
मुझे  दुनिया के  हर  सामान  की  चाहत  तुम्हारे बा'द




~आशुतोष मिश्रा 'अज़ल'

समन नर्गिस कँवल नसरीन की निकहत तुम्हारे बा'द धनक बादल नदी पर्बत की है अज़्मत तुम्हारे बा'द ख़ुदा की इक हसीं कारीगरी है अपनी दुनिया और मुझे दुनिया के हर सामान की चाहत तुम्हारे बा'द ~आशुतोष मिश्रा 'अज़ल'

8 Love

Trending Topic