Varshit soni

Varshit soni Lives in New Delhi, Delhi, India

घर में बने कोटरों में से झांकता है एक भिखारी वो जो देखना चाहता है,उसे वो दिख नहीं पाता कभी अंदाज़ा मत लगाना मेरे हालातों के दर्द का जितना महसूस करता हूँ, मैं उतना लिख नहीं पाता।

https://youtu.be/DwcWAPxrQGI

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हम किसी रोज़ फिर इसी चौबारे मिलेंगे बिछड़ कर नहीं लगता कि दोबारा मिलेंगे उसी जगह फिर से पुकारते हुए तू चले आना पलट के देखना सबसे पहले हम ही मिलेंगे भटक भी जाना तो वापिस मत लौटना रुख हवाओं से भी तुझे इशारे मिलेंगे जब कभी याद आये तो बच्चों को अपने चूम लेना लिपटना उनसे और लगेगा गले हम मिलेंगे तू भी नहीं चाहती मिलना और यही ख़्वाहिश मेरी भी है मगर मुझे लगता है कि हम फिर कभी ज़रूर मिलेंगे

#nojotohindi #nojotihindi #NojotoViral #lovepoetry #relation #lovepoem  हम किसी रोज़ फिर इसी चौबारे मिलेंगे
बिछड़ कर नहीं लगता कि दोबारा मिलेंगे

उसी जगह फिर से पुकारते हुए तू चले आना
पलट के देखना सबसे पहले हम ही मिलेंगे

भटक भी जाना तो वापिस मत लौटना
रुख हवाओं से भी तुझे इशारे मिलेंगे

जब कभी याद आये तो बच्चों को अपने चूम लेना
लिपटना उनसे और लगेगा गले हम मिलेंगे

तू भी नहीं चाहती मिलना और यही ख़्वाहिश मेरी भी है
मगर मुझे लगता है कि हम फिर कभी ज़रूर मिलेंगे

अपनी अना की सोहबत बचाता रहा हर बोली पर मगर, जरूरत के आगे कभी बिक नहीं सके स्वाद होता है उसी रोटी का लज्जत से भरपूर जो दोनो तरफ से पूरी सिंक ना सके मंजिल तभी लिपटती है हवा बनकर कामयाबी की जब पाँव किसी एक डगर पर टिक ना सके लिखते-लिखते ना जाने क्या-क्या लिख डाला पर जो लिखना था, वही लिख ना सके

#Nojoto #follow #Shame #Quote  अपनी अना की सोहबत बचाता रहा हर बोली पर
 मगर, जरूरत के आगे कभी बिक नहीं सके

स्वाद होता है उसी रोटी का लज्जत से भरपूर
जो दोनो तरफ से पूरी सिंक ना सके

मंजिल तभी लिपटती है हवा बनकर कामयाबी की
जब पाँव किसी एक डगर पर टिक ना सके

लिखते-लिखते ना जाने क्या-क्या लिख डाला
पर जो लिखना था, वही लिख ना सके

भरते हुए ज़ख्म को उभारना सीख लेता है दंश के मिलते ही ज़हन हमारा चीख लेता है ! घर पर बैठे हैं बच्चे एक निवाले की आस में बस इसलिए तो बाजेवाला हमसे भीख लेता है !

#quoteoftheday #lovequote #Trending #followme #lyrics  भरते हुए ज़ख्म को उभारना सीख लेता है
दंश के मिलते ही ज़हन हमारा चीख लेता है !
घर पर बैठे हैं बच्चे एक निवाले की आस में
बस इसलिए तो बाजेवाला हमसे भीख लेता है !

भला करते करते थक जाता है रगों मे बहता लहू आप आसां इतना समझते हैं दुश्मनी मोल लेना जिस शक्स से बंद हो ताल्लुकात अरसे से बहुत मुश्किल है उससे प्यार के दो बोल बोल लेना जब कभी लगे फंस गए हो प्रश्नों के चक्रव्यूह में,तुम जीत के लिए महफ़िल बस मेरा ये शेर बोल लेना याद कभी जब आए तकिए से लिपटकर रोते वक़्त फोन उठाना और बस हमारी तस्वीर खोल लेना जिस तरह सजा सुनाते हो बाट रख गुस्ताख़ पर बस एक बार खुद को उस तराजू पर तौल लेना

#nojotohindi #Trending #Nojoto #gazal #Fact  भला करते करते थक जाता है रगों मे बहता लहू
आप आसां इतना समझते हैं दुश्मनी मोल लेना

जिस शक्स से बंद हो ताल्लुकात अरसे से
बहुत मुश्किल है उससे प्यार के दो बोल बोल लेना

जब कभी लगे फंस गए हो प्रश्नों के चक्रव्यूह में,तुम
जीत के लिए महफ़िल बस मेरा ये शेर बोल लेना

याद कभी जब आए तकिए से लिपटकर रोते वक़्त
फोन उठाना और बस हमारी तस्वीर खोल लेना

जिस तरह सजा सुनाते हो बाट रख गुस्ताख़ पर
बस एक बार खुद को उस तराजू पर तौल लेना

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21 Love

बेटी की लोरी से पहर काट देते हैं पिता के रक्त से जहर काट देते हैं जब कभी बैठे - बैठे हो जाती है शाम मां की याद के आंचल में सेहर काट देते हैं बहन की राखियों से ले बुलंदी प्रीत की चिड़िया के पर काट देते हैं प्रिया के सिंदूर की लालिमा के ओज से मावस में आता हुआ हर शर काट देते हैं लंबे रास्तों में पर्वत नदियां कुछ नहीं दिखती एक बटुए को देखते हुए सफर काट देते हैं वक़्त की मांग पर जब मांगती है लहू ये जमीं शीश देकर अपना शहीद जीवन सफर काट देते हैं #gif

#PulwamaAttack #Gif  बेटी की लोरी से पहर काट देते हैं
पिता के रक्त से जहर काट देते हैं

जब कभी बैठे - बैठे हो जाती है शाम
मां की याद के आंचल में सेहर काट देते हैं

बहन की राखियों से ले बुलंदी
प्रीत की चिड़िया के पर काट देते हैं

प्रिया के सिंदूर की लालिमा के ओज से
मावस में आता हुआ हर शर काट देते हैं

लंबे रास्तों में पर्वत नदियां कुछ नहीं दिखती
एक बटुए को देखते हुए सफर 
काट देते हैं

वक़्त की मांग पर जब मांगती है लहू ये जमीं
शीश देकर अपना शहीद जीवन सफर काट देते हैं #gif

थोड़ा पाया, ज्यादा खो दिया कई लोगों ने अपना खो दिया इंसानियत भी क्या चीज़ है मियां मेरे हालातों ने सपना खो दिया और तुम क्या जानो मेरी बीती रातों को दिल जगा रातभर और जिस्म सो दिया

#Sach  थोड़ा पाया, ज्यादा खो दिया
कई लोगों ने अपना खो दिया
इंसानियत भी क्या चीज़ है मियां
मेरे हालातों ने सपना खो दिया
और तुम क्या जानो मेरी बीती रातों को
दिल जगा रातभर और जिस्म सो दिया

#Sach

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