कवि धर्मेन्द्र काव्य

कवि धर्मेन्द्र काव्य

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(HAPPY MOTHER'S DAY) (सभी माओं को समर्पित) 💐💐💐💐💐💐 माँ ने आँचल ढककर हमको उंगली पकड़ चलाया है। "नैतिक और मौलिक" पाठों को माँ ने हमें पढ़ाया है।। मन्दिर,मस्जिद,चारों धामों से बढ़कर है अपनी माँ। देव-देवी,दुनिया के नामों से बढ़कर है अपनी माँ।। कवि धर्मेन्द्र काव्य (9759333632) ©कवि धर्मेन्द्र काव्य

 (HAPPY MOTHER'S DAY)


(सभी माओं को समर्पित)
💐💐💐💐💐💐


माँ ने आँचल ढककर हमको उंगली पकड़ चलाया है।
"नैतिक और मौलिक" पाठों को माँ ने हमें पढ़ाया है।।

मन्दिर,मस्जिद,चारों धामों से बढ़कर है अपनी माँ।
देव-देवी,दुनिया के नामों से बढ़कर है अपनी माँ।।



कवि धर्मेन्द्र काव्य
(9759333632)

©कवि धर्मेन्द्र काव्य

#motherlove # reel # youth

12 Love

खुश रहना सीखा था तुमसे वादा था साथ निभाने का सुख से ज़्यादा दुख बाटेंगे डर हमको था खो जाने का एक दूजे से ना रूठेंगे............ हमने ये वचन लिए मन से दिल तुम थे..मैं धड़कन उसकी ..ना जुदा कभी होंगे तन से हम समां जाएं एक दूजे में.. अपना दिल धड़काना होगा जो गीत अधूरा छोड़ दिया ...........मेरे संग वो गाना होगा जिस पथ से भटक गए हो तुम उस पथ पर फिर आना होगा जो गीत अधूरा छोड़ दिया............ मेरे संग वो गाना होगा कवि धर्मेन्द्र काव्य (9759333632) ©Kavi Dharmendra Kavya

#Lights  खुश रहना सीखा था तुमसे वादा था साथ निभाने का 
सुख से ज़्यादा दुख बाटेंगे डर हमको था खो जाने का

एक दूजे से ना रूठेंगे............ हमने ये वचन लिए मन से
दिल तुम थे..मैं धड़कन उसकी ..ना जुदा कभी होंगे तन से 

हम समां जाएं एक दूजे में.. अपना दिल धड़काना होगा
जो गीत अधूरा छोड़ दिया ...........मेरे संग वो गाना होगा

जिस पथ से भटक गए हो तुम उस पथ पर फिर आना होगा 
जो गीत अधूरा छोड़ दिया............ मेरे संग वो गाना होगा


                                       कवि धर्मेन्द्र काव्य
                                       (9759333632)

©Kavi Dharmendra Kavya

#Lights

8 Love

Alone कुछ कर नहीं सकते............ कुछ कह नहीं सकते बिना तेरे.......तेरी यादों के बिन अब रह नहीं सकते न सोने का सलीका है.......... न जगने का तरीका है जुदाई दिल और धड़कन... कभी भी सह नहीं सकते नदियां और साहिल सा है........... ये तेरा-मेरा रिश्ता रुकना एक को है...... संग-संग दोनों बह नहीं सकते धर्मेन्द्र कुमार शर्मा (9759333632) ©Kavi Dharmendra Kavya

#alone  Alone  कुछ कर नहीं सकते............ कुछ कह नहीं सकते
बिना तेरे.......तेरी यादों के बिन अब रह नहीं सकते
न सोने का सलीका है.......... न जगने का तरीका है
जुदाई दिल और धड़कन... कभी भी सह नहीं सकते
नदियां और साहिल सा है........... ये तेरा-मेरा रिश्ता
रुकना एक को है...... संग-संग दोनों बह नहीं सकते
                  
                                धर्मेन्द्र कुमार शर्मा
                                (9759333632)

©Kavi Dharmendra Kavya

#alone

12 Love

दगा छिपी हो गर रिश्ते में ........ उसका सामना बेहतर है इससे अच्छा अंगारों का ........... हाथ थामना बेहतर है धर्मेन्द्र कुमार शर्मा (9759333632) ©Kavi Dharmendra Kavya

#Hopeless  दगा छिपी हो गर रिश्ते में  ........ उसका सामना बेहतर है
इससे अच्छा अंगारों का   ...........  हाथ थामना बेहतर है



                                    धर्मेन्द्र कुमार शर्मा
                                     (9759333632)

©Kavi Dharmendra Kavya

#Hopeless

9 Love

जय श्री राम 💐💐💐💐💐💐💐 उर-मन जिसको अपनाता है सूरज खुद दीप जलाता है अनल,अनिल सब डरते हैं इतिहास भी गाथा गढ़ते हैं जन-जन जिसका अभिलाषी है जो घट-घट,कण-कण वासी है जो छिपा हुआ है अंतर्मन हम उस अभिमान का दमन करें ऐसे श्री राम के चरणों में ...........हम कोटि-कोटि नमन करें धर्मेन्द्र कुमार शर्मा (9759333632) ©Kavi Dharmendra Kavya

#Dussehra2020  जय श्री राम 
💐💐💐💐💐💐💐

उर-मन जिसको अपनाता है
                                             सूरज खुद दीप जलाता है
अनल,अनिल सब डरते हैं
                                             इतिहास भी गाथा गढ़ते हैं
जन-जन जिसका अभिलाषी है
                                         जो घट-घट,कण-कण वासी है

जो छिपा हुआ है अंतर्मन हम उस अभिमान का दमन करें
ऐसे श्री राम के चरणों में ...........हम कोटि-कोटि नमन करें 

                             
                                     धर्मेन्द्र कुमार शर्मा
                                     (9759333632)

©Kavi Dharmendra Kavya

HappyBdayPMModi,मित्रों सैनिकों की शहादत को नमन 💐💐💐💐💐💐💐💐 नयन भिगोनें बन्द करो आँखों का डोरा लाल करो लगे मौत भी घबराने अब ऐसा इनका हाल करो बूंद-बूंद जल को तरसें और खूनी मंजर कर दो तुम जिस धरा पे जन्में आतंकी उस धरा को बंजर कर दो तुम खौफ लगे हर दुश्मन को ......... ऐसा मंजर तुम अलग करो धड़-शीश अलग क्या करना है अस्थि-पंजर तुम अलग करो धर्मेन्द्र कुमार शर्मा (9759333632)

 HappyBdayPMModi,मित्रों  सैनिकों की शहादत को नमन
💐💐💐💐💐💐💐💐

नयन भिगोनें बन्द करो आँखों का डोरा लाल करो
लगे मौत भी घबराने अब ऐसा इनका हाल करो

बूंद-बूंद जल को तरसें और खूनी मंजर कर दो तुम
जिस धरा पे जन्में आतंकी उस धरा को बंजर कर दो तुम

खौफ लगे हर दुश्मन को ......... ऐसा मंजर तुम अलग करो
धड़-शीश अलग क्या करना है अस्थि-पंजर तुम अलग करो


                                        धर्मेन्द्र कुमार शर्मा
                                           (9759333632)

HappyBdayPMModi,मित्रों सैनिकों की शहादत को नमन 💐💐💐💐💐💐💐💐 नयन भिगोनें बन्द करो आँखों का डोरा लाल करो लगे मौत भी घबराने अब ऐसा इनका हाल करो बूंद-बूंद जल को तरसें और खूनी मंजर कर दो तुम जिस धरा पे जन्में आतंकी उस धरा को बंजर कर दो तुम खौफ लगे हर दुश्मन को ......... ऐसा मंजर तुम अलग करो धड़-शीश अलग क्या करना है अस्थि-पंजर तुम अलग करो धर्मेन्द्र कुमार शर्मा (9759333632)

12 Love

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