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#santoshmotivation_talks #tatyaluciferin #santoshtatya #viralreels #viralshere #kvitatya  White रक्तदान की महिमा

रक्त की हर बूंद में, जीवन की आस हैं,
रक्तदान से मिटती, हर पीड़ा की प्यास हैं।

जीवन के संघर्ष में, एक नई रौशनी होती,
रक्तदान से रक्त बड़े, हर दर्द को राहत होती।

एक बूंद रक्त, जीवन की संजीवनी बने,
रक्तदान से नित नया, स्वर्णिम दिन बने।

मानवता की सेवा में, रक्तदान का परचम लहराएं,
जीवन के हर क्षण में, प्रेम और स्नेह बिखराएं।

आओ मिलकर हम सब, ये संकल्प करें महान,
रक्तदान कर बनाएं, हर जीवन को आसान।

हर धड़कन में शामिल, रक्त का अमूल्य उपहार,
रक्तदान से सजाएं, हर दिल का संसार।

रक्तदान का यह पर्व, हमें जीवन का महत्व सिखाए,
आओ मिलकर हम सब, इस महायज्ञ में भागीदार बनाएं।

©tatya luciferin

White रईसी का गुमान आज अपनी इस रईसी पर गुमान किया करते हो, और हमें सदा अपमान ही दिया करते हो। लगता है तुम्हें तुम रहोगे अपने ही हाल में सदा, और हमारी दरिद्रता भी कभी साथ न छोड़ेगी। इक दिन ज़रूर ये सब नहीं रहेगा, तुम भले ही रहो अपने इसी हाल में लेकिन हमारा जरूर वक्त बदलेगा। उस रोज़ तुम्हारा हृदय अवश्य आराम पाएगा, फिर कभी तुम्हारे भीतर ये रईसी का गुमान न आयेगा। हमसे कोई भी नाता न रखने की चाहत है तुम्हारी, तुम्हारे इस अंदाज़ से हृदय ही नहीं, देह भी आहत है हमारी, तुम हर दफ़ा दूरियां ही खोजते हो हमसे, शायद सोचते हो कि कोई गंदी बू आती है हमारे तन से। तुम्हारा बनाया ये फासला सदा के लिए न रह पाएगा, फिर कभी तुम्हारे भीतर ये रईसी का गुमान न आएगा। दिखावे के लिए तुम जरूर इक साथी भी बन जाओगे, भीतर से कभी कोई अपनेपन का भाव न बुन पाओगे। तुम्हारा ये रईसाना इस झूठे नाते को भी न रहने देगा, हर मोड़ पर कैसे हमारा ये मन तुम्हारे इस दंभ के कांटे को सहने देगा? इक रोज़ अवश्य तुम्हारे इस दर्प की शमा बुझ जायेगी, उसी दिन से तुम्हारे मन की मदमस्तता भी शायद रुक जाएगी । अमीरों की सूची में हमारा भी इक नाम आएगा, फिर कभी तुम्हारे भीतर ये रईसी का गुमान न आएगा। ©D.R. divya (Deepa)

#कविता #thought #writing #poeatry #Shayar  White 
रईसी का गुमान

आज अपनी इस रईसी पर गुमान किया करते हो,
     और हमें सदा अपमान ही दिया करते हो।
लगता है तुम्हें तुम रहोगे अपने ही हाल में सदा,
और हमारी दरिद्रता भी कभी साथ न छोड़ेगी।
   इक दिन ज़रूर ये सब नहीं रहेगा,
     तुम  भले ही रहो अपने इसी हाल में 
लेकिन हमारा जरूर वक्त बदलेगा।
उस रोज़ तुम्हारा हृदय अवश्य आराम पाएगा,
   फिर कभी तुम्हारे भीतर ये रईसी का गुमान न आयेगा।
  
हमसे कोई भी नाता न रखने की चाहत है तुम्हारी,
    तुम्हारे इस अंदाज़ से हृदय ही नहीं,
      देह भी आहत है हमारी,
  तुम हर दफ़ा दूरियां ही खोजते हो हमसे,
  शायद सोचते हो कि कोई गंदी बू आती है हमारे तन से।
तुम्हारा बनाया ये फासला सदा के लिए न रह पाएगा,
  फिर कभी तुम्हारे भीतर ये रईसी का गुमान न आएगा।

  दिखावे के लिए तुम जरूर इक साथी भी बन जाओगे,
    भीतर से कभी कोई अपनेपन का भाव न बुन पाओगे।
तुम्हारा ये रईसाना इस झूठे नाते को भी न रहने देगा,
  हर मोड़ पर कैसे हमारा ये मन तुम्हारे इस दंभ के कांटे को सहने देगा?
    इक रोज़ अवश्य तुम्हारे इस दर्प की शमा बुझ जायेगी,
    उसी दिन से तुम्हारे मन की मदमस्तता भी शायद रुक जाएगी ।
      अमीरों की सूची में हमारा भी इक नाम आएगा,
      फिर कभी तुम्हारे भीतर ये रईसी का गुमान न आएगा।

©D.R. divya (Deepa)

तुम आओगे इक रोज़ ... ऋतुराज बसंत के फूलों के बीच से लेकर, सावन की हर बरसती बूंद में तुम्हें खोजा है, तुम आओगे इक रोज़ बेसुधों की तरह दौड़ते हुए, यही सोच कर इस व्याकुल हृदय को रोका है। तुम्हारी कमी ऐसे मालूम पड़ती है जैसे पर्वतों की तलहटी को सूरज की रोशनी का अभाव है, कोई चोट नहीं है इस हृदय में, फिर भी न जाने ये कैसा घाव है। तुम नहीं हो कहीं मेरी इन कल्पनाओं से बाहर, या इक रोज़ आओगे? आते ही मिलन को आतुर इन नीर भरे नेत्रों में खो जाओगे। मैंने इस हृदय में उपजती हुई हर निराशा को रौंदा है, तुम आओगे इक रोज बेसुधों की तरह दौड़ते हुए, यही सोचकर इस व्याकुल हृदय को रोका है। ©D.R. divya (Deepa)

#कविता #treanding #GateLight #poeatry #kvita  तुम आओगे इक रोज़ ...
   
ऋतुराज बसंत के फूलों के बीच से लेकर,
 सावन की हर बरसती बूंद में तुम्हें खोजा है,
   तुम आओगे इक रोज़ बेसुधों की तरह दौड़ते हुए,
     यही सोच कर इस व्याकुल हृदय को रोका है।
    तुम्हारी कमी ऐसे मालूम पड़ती है जैसे
 पर्वतों की तलहटी को सूरज की रोशनी का अभाव है,
  कोई चोट नहीं है इस हृदय में, 
  फिर भी न जाने ये कैसा घाव है।
तुम नहीं हो कहीं मेरी इन कल्पनाओं से बाहर, या इक रोज़ आओगे?
    आते ही मिलन को आतुर इन नीर भरे नेत्रों में खो जाओगे।
    मैंने इस हृदय में उपजती हुई हर निराशा को रौंदा है,
    तुम आओगे इक  रोज बेसुधों की तरह दौड़ते हुए,
    यही सोचकर इस व्याकुल हृदय को रोका है।

©D.R. divya (Deepa)

#GateLight #kvita #poeatry #life #Love #treanding

12 Love

दिल की साफ और किस्मत कि मारी थी कुछ ऐसी मेरी कहानी थी, पिता भाई पति ना ही बेटा मर्द के नाम पर अपना कोई भी तो नहीं था लेकिन एक अजनबी आया और जैसे मेरी जिंदगी कि हर कमी और गम को अपना मान कर चलने लगा मुझे ऐसा लगा शायद अब तो मेरी विरानी सी जिंदगी में एक सहारे की किरण जगमग गई उठी है, कुछ वक्त बाद उस भी हम में बहुत कमी नजर आने लगी क्योंकि वक्त गुजरे के बाद लोगो को आप से दूर होने का बहाना भी तो देनी होती है । और वह भी तो ठहड़ा दिमाग वाला💔💔 ©priya kumari

#विचार #motavitonal #apnikahani #quaotes #vichar  दिल की साफ और किस्मत कि मारी थी
कुछ ऐसी मेरी कहानी थी,
पिता भाई पति ना ही बेटा 
मर्द के नाम पर अपना कोई भी तो नहीं था
लेकिन एक अजनबी आया और 
जैसे मेरी जिंदगी कि हर कमी और गम को
अपना मान कर चलने लगा मुझे ऐसा लगा शायद अब तो
मेरी विरानी सी जिंदगी में एक सहारे की किरण जगमग गई उठी है, कुछ वक्त बाद उस भी हम में बहुत
कमी नजर आने लगी क्योंकि वक्त गुजरे के बाद लोगो को 
आप से दूर होने का बहाना भी तो देनी होती है ।
और वह भी तो ठहड़ा दिमाग वाला💔💔

©priya kumari
#विचार #Morning #quaotes #kvita #Dard  Black कहां तलाश करेंगे तुम
 मेरे जैसा
जो तुमसे जुदा भी रहे 
और मोहब्बत भी बेपनाह करे....!

©priya kumari

#Morning #Nojoto #Dard #kvita #quaotes #shayari

144 View

hanuman jayanti 2024 kha lo alu dimag ho jayega chalu ©Raman Kumar Sah

#कॉमेडी  hanuman jayanti 2024 kha lo alu dimag ho jayega chalu

©Raman Kumar Sah

kvita

6 Love

#santoshmotivation_talks #tatyaluciferin #santoshtatya #viralreels #viralshere #kvitatya  White रक्तदान की महिमा

रक्त की हर बूंद में, जीवन की आस हैं,
रक्तदान से मिटती, हर पीड़ा की प्यास हैं।

जीवन के संघर्ष में, एक नई रौशनी होती,
रक्तदान से रक्त बड़े, हर दर्द को राहत होती।

एक बूंद रक्त, जीवन की संजीवनी बने,
रक्तदान से नित नया, स्वर्णिम दिन बने।

मानवता की सेवा में, रक्तदान का परचम लहराएं,
जीवन के हर क्षण में, प्रेम और स्नेह बिखराएं।

आओ मिलकर हम सब, ये संकल्प करें महान,
रक्तदान कर बनाएं, हर जीवन को आसान।

हर धड़कन में शामिल, रक्त का अमूल्य उपहार,
रक्तदान से सजाएं, हर दिल का संसार।

रक्तदान का यह पर्व, हमें जीवन का महत्व सिखाए,
आओ मिलकर हम सब, इस महायज्ञ में भागीदार बनाएं।

©tatya luciferin

White रईसी का गुमान आज अपनी इस रईसी पर गुमान किया करते हो, और हमें सदा अपमान ही दिया करते हो। लगता है तुम्हें तुम रहोगे अपने ही हाल में सदा, और हमारी दरिद्रता भी कभी साथ न छोड़ेगी। इक दिन ज़रूर ये सब नहीं रहेगा, तुम भले ही रहो अपने इसी हाल में लेकिन हमारा जरूर वक्त बदलेगा। उस रोज़ तुम्हारा हृदय अवश्य आराम पाएगा, फिर कभी तुम्हारे भीतर ये रईसी का गुमान न आयेगा। हमसे कोई भी नाता न रखने की चाहत है तुम्हारी, तुम्हारे इस अंदाज़ से हृदय ही नहीं, देह भी आहत है हमारी, तुम हर दफ़ा दूरियां ही खोजते हो हमसे, शायद सोचते हो कि कोई गंदी बू आती है हमारे तन से। तुम्हारा बनाया ये फासला सदा के लिए न रह पाएगा, फिर कभी तुम्हारे भीतर ये रईसी का गुमान न आएगा। दिखावे के लिए तुम जरूर इक साथी भी बन जाओगे, भीतर से कभी कोई अपनेपन का भाव न बुन पाओगे। तुम्हारा ये रईसाना इस झूठे नाते को भी न रहने देगा, हर मोड़ पर कैसे हमारा ये मन तुम्हारे इस दंभ के कांटे को सहने देगा? इक रोज़ अवश्य तुम्हारे इस दर्प की शमा बुझ जायेगी, उसी दिन से तुम्हारे मन की मदमस्तता भी शायद रुक जाएगी । अमीरों की सूची में हमारा भी इक नाम आएगा, फिर कभी तुम्हारे भीतर ये रईसी का गुमान न आएगा। ©D.R. divya (Deepa)

#कविता #thought #writing #poeatry #Shayar  White 
रईसी का गुमान

आज अपनी इस रईसी पर गुमान किया करते हो,
     और हमें सदा अपमान ही दिया करते हो।
लगता है तुम्हें तुम रहोगे अपने ही हाल में सदा,
और हमारी दरिद्रता भी कभी साथ न छोड़ेगी।
   इक दिन ज़रूर ये सब नहीं रहेगा,
     तुम  भले ही रहो अपने इसी हाल में 
लेकिन हमारा जरूर वक्त बदलेगा।
उस रोज़ तुम्हारा हृदय अवश्य आराम पाएगा,
   फिर कभी तुम्हारे भीतर ये रईसी का गुमान न आयेगा।
  
हमसे कोई भी नाता न रखने की चाहत है तुम्हारी,
    तुम्हारे इस अंदाज़ से हृदय ही नहीं,
      देह भी आहत है हमारी,
  तुम हर दफ़ा दूरियां ही खोजते हो हमसे,
  शायद सोचते हो कि कोई गंदी बू आती है हमारे तन से।
तुम्हारा बनाया ये फासला सदा के लिए न रह पाएगा,
  फिर कभी तुम्हारे भीतर ये रईसी का गुमान न आएगा।

  दिखावे के लिए तुम जरूर इक साथी भी बन जाओगे,
    भीतर से कभी कोई अपनेपन का भाव न बुन पाओगे।
तुम्हारा ये रईसाना इस झूठे नाते को भी न रहने देगा,
  हर मोड़ पर कैसे हमारा ये मन तुम्हारे इस दंभ के कांटे को सहने देगा?
    इक रोज़ अवश्य तुम्हारे इस दर्प की शमा बुझ जायेगी,
    उसी दिन से तुम्हारे मन की मदमस्तता भी शायद रुक जाएगी ।
      अमीरों की सूची में हमारा भी इक नाम आएगा,
      फिर कभी तुम्हारे भीतर ये रईसी का गुमान न आएगा।

©D.R. divya (Deepa)

तुम आओगे इक रोज़ ... ऋतुराज बसंत के फूलों के बीच से लेकर, सावन की हर बरसती बूंद में तुम्हें खोजा है, तुम आओगे इक रोज़ बेसुधों की तरह दौड़ते हुए, यही सोच कर इस व्याकुल हृदय को रोका है। तुम्हारी कमी ऐसे मालूम पड़ती है जैसे पर्वतों की तलहटी को सूरज की रोशनी का अभाव है, कोई चोट नहीं है इस हृदय में, फिर भी न जाने ये कैसा घाव है। तुम नहीं हो कहीं मेरी इन कल्पनाओं से बाहर, या इक रोज़ आओगे? आते ही मिलन को आतुर इन नीर भरे नेत्रों में खो जाओगे। मैंने इस हृदय में उपजती हुई हर निराशा को रौंदा है, तुम आओगे इक रोज बेसुधों की तरह दौड़ते हुए, यही सोचकर इस व्याकुल हृदय को रोका है। ©D.R. divya (Deepa)

#कविता #treanding #GateLight #poeatry #kvita  तुम आओगे इक रोज़ ...
   
ऋतुराज बसंत के फूलों के बीच से लेकर,
 सावन की हर बरसती बूंद में तुम्हें खोजा है,
   तुम आओगे इक रोज़ बेसुधों की तरह दौड़ते हुए,
     यही सोच कर इस व्याकुल हृदय को रोका है।
    तुम्हारी कमी ऐसे मालूम पड़ती है जैसे
 पर्वतों की तलहटी को सूरज की रोशनी का अभाव है,
  कोई चोट नहीं है इस हृदय में, 
  फिर भी न जाने ये कैसा घाव है।
तुम नहीं हो कहीं मेरी इन कल्पनाओं से बाहर, या इक रोज़ आओगे?
    आते ही मिलन को आतुर इन नीर भरे नेत्रों में खो जाओगे।
    मैंने इस हृदय में उपजती हुई हर निराशा को रौंदा है,
    तुम आओगे इक  रोज बेसुधों की तरह दौड़ते हुए,
    यही सोचकर इस व्याकुल हृदय को रोका है।

©D.R. divya (Deepa)

#GateLight #kvita #poeatry #life #Love #treanding

12 Love

दिल की साफ और किस्मत कि मारी थी कुछ ऐसी मेरी कहानी थी, पिता भाई पति ना ही बेटा मर्द के नाम पर अपना कोई भी तो नहीं था लेकिन एक अजनबी आया और जैसे मेरी जिंदगी कि हर कमी और गम को अपना मान कर चलने लगा मुझे ऐसा लगा शायद अब तो मेरी विरानी सी जिंदगी में एक सहारे की किरण जगमग गई उठी है, कुछ वक्त बाद उस भी हम में बहुत कमी नजर आने लगी क्योंकि वक्त गुजरे के बाद लोगो को आप से दूर होने का बहाना भी तो देनी होती है । और वह भी तो ठहड़ा दिमाग वाला💔💔 ©priya kumari

#विचार #motavitonal #apnikahani #quaotes #vichar  दिल की साफ और किस्मत कि मारी थी
कुछ ऐसी मेरी कहानी थी,
पिता भाई पति ना ही बेटा 
मर्द के नाम पर अपना कोई भी तो नहीं था
लेकिन एक अजनबी आया और 
जैसे मेरी जिंदगी कि हर कमी और गम को
अपना मान कर चलने लगा मुझे ऐसा लगा शायद अब तो
मेरी विरानी सी जिंदगी में एक सहारे की किरण जगमग गई उठी है, कुछ वक्त बाद उस भी हम में बहुत
कमी नजर आने लगी क्योंकि वक्त गुजरे के बाद लोगो को 
आप से दूर होने का बहाना भी तो देनी होती है ।
और वह भी तो ठहड़ा दिमाग वाला💔💔

©priya kumari
#विचार #Morning #quaotes #kvita #Dard  Black कहां तलाश करेंगे तुम
 मेरे जैसा
जो तुमसे जुदा भी रहे 
और मोहब्बत भी बेपनाह करे....!

©priya kumari

#Morning #Nojoto #Dard #kvita #quaotes #shayari

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hanuman jayanti 2024 kha lo alu dimag ho jayega chalu ©Raman Kumar Sah

#कॉमेडी  hanuman jayanti 2024 kha lo alu dimag ho jayega chalu

©Raman Kumar Sah

kvita

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