Chetan Verma

Chetan Verma Lives in Kota, Rajasthan, India

✍शायर

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पूछें जमाना बताना तो होगा... कसम है तुम्हें ,अब जाना होगा पूछे जमाना बताना होगा कुछ भी हो तेरे दरमियां निभाना तो होगा ... पैरों से अपने हमको चलना होगा पूछे रुका कर कोई भी रास्ता मंजिल तेरा अब कोई ठिकाना तो होगा ... थक भी न जाऊं कहीं , रुक भी न जाऊं कहीं सफर है सुहाना पैदल ही जाना होगा महफिल में तेरी हमको रुकना तो होगा .... कह दो ठोकरो से हवाला ही दे दे मेहनत में हमको सब भूल जाना होगा जिंदगी तेरे इस खेल में मुस्कुराना तो होगा पूछें जमाना बताना तो होगा .... ©Chetan Verma

#Dream #Goals #Study #dunia  पूछें जमाना बताना तो होगा... 

कसम है तुम्हें ,अब जाना होगा 
पूछे जमाना बताना होगा
कुछ भी हो तेरे दरमियां निभाना तो होगा ...

पैरों से अपने हमको चलना होगा 
पूछे रुका कर कोई भी रास्ता 
मंजिल तेरा अब कोई ठिकाना तो होगा ...

थक भी न जाऊं कहीं , रुक भी न जाऊं कहीं 
सफर है सुहाना पैदल ही जाना होगा
महफिल में तेरी हमको रुकना तो होगा ....

कह दो ठोकरो से हवाला ही दे दे
मेहनत में हमको सब भूल जाना होगा 
जिंदगी तेरे इस खेल में मुस्कुराना तो होगा 
पूछें जमाना बताना तो होगा ....

©Chetan Verma

gazal... by chetan verma यह मौसम इतना अच्छा होता क्यों है कोई नहीं पास तो रोता क्यों है | रुको जरा ठहरो जुल्फों के साए में अंधेरा कितना ही हो हटता क्यों है | बिछड़ कर मुझसे उसका घर बस भी गया होगा पर नया घर अच्छा लगता क्यों है | यूं ना फसाओ हमें शरबती बातों में आंखों का छलका आंसू टपकता क्यों है | सब समझ आ गया उसे मेरा महफिल-ए-राग भी शिकायत यह है कि बिखर कर भी वह हंसता क्यों है | ©Chetan Verma

#repost #Light #share #gazal  gazal... by chetan verma 

यह मौसम इतना अच्छा होता क्यों है
कोई नहीं पास तो रोता क्यों है |


रुको जरा ठहरो जुल्फों के साए में 
अंधेरा कितना ही हो हटता क्यों है |


बिछड़ कर मुझसे उसका घर बस भी गया होगा
पर नया घर अच्छा लगता क्यों है |


यूं ना फसाओ हमें शरबती बातों में
आंखों का छलका आंसू टपकता क्यों है |


सब समझ आ गया उसे मेरा महफिल-ए-राग भी
शिकायत यह है कि बिखर कर भी वह हंसता क्यों है |

©Chetan Verma

गांव मेरे ...(चेतन वर्मा) याद आता है तू गांव मेरे अब तेरी ही तलाश में निकलूंगा मैं सोचता हूं थोड़े दिन और रह लूं शहर में नौकरी लग कर तेरी और ही लौटूंगा मैं... जी भर ही गया अब मेरा शहर से रास्ते-रास्ते घर को लौटूंगा मैं थोड़ा वक्त लगेगा सही भी है पर हर घाट का पानी पीकर अपने गांव लौटूंगा मैं... अब तो निगाह भी तरसी है मेरी पर कैसे कह दूं सभी से कि ना लगे मन अब तो गांव के संग रहूंगा मैं याद आता है तू गांव मेरे अब तेरी ही तलाश में निकलूंगा मैं... ©Chetan Verma

#Nature #Music #gaw  गांव मेरे ...(चेतन वर्मा) 

याद आता है तू गांव मेरे 
अब तेरी ही तलाश में निकलूंगा मैं
सोचता हूं
थोड़े दिन और रह लूं शहर में 
नौकरी लग कर 
तेरी और ही लौटूंगा मैं... 

जी भर ही गया 
अब मेरा शहर से
रास्ते-रास्ते घर को लौटूंगा मैं
थोड़ा वक्त लगेगा सही भी है पर 
हर घाट का पानी पीकर 
अपने गांव लौटूंगा मैं... 

अब तो निगाह भी
तरसी है मेरी पर
कैसे कह दूं सभी से कि ना लगे मन
अब तो गांव के संग रहूंगा मैं
याद आता है तू गांव मेरे 
अब तेरी ही तलाश में निकलूंगा मैं...

©Chetan Verma

आंखों की हकीकत से तुम वाकिफ नहीं शायद तभी तो तुम्हें मेरा शहर पुराना नजर आता है | जहां मंजर थे वहां खंजर भी थे साथ चलने का हुनर तुम्हें कहां आता है | जो लगा रखी है बातों की जड़ी तुमने उसमें भी झूठ कहा नजर आता है | अनबन थी तेरे मेरे दरमियां फिर इसमें तीसरा क्यों नजर आता है | तुम जैसे फरिश्तों से बचाए हमें खुदा फरिश्ता भी शर्म के मारे झुका जाता है | ©Chetan Verma

#nojato #Trees  आंखों की हकीकत से तुम वाकिफ नहीं शायद
तभी तो तुम्हें मेरा शहर पुराना नजर आता है | 

जहां मंजर थे वहां खंजर भी थे
साथ चलने का हुनर तुम्हें कहां आता है | 

जो लगा रखी है बातों की जड़ी तुमने
उसमें भी झूठ कहा नजर आता है | 

अनबन थी तेरे मेरे दरमियां
फिर इसमें तीसरा क्यों नजर आता है | 

तुम जैसे फरिश्तों से बचाए हमें खुदा 
फरिश्ता भी शर्म के मारे झुका जाता है |

©Chetan Verma

#nojato #Trees

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चल सब कुछ छोड़ अब आगे बढ़ते हैं बात-बात पर अब हम भी लड़ते हैं पतझड़ के भी नखरे अजीब है यह रोए तो पत्ते झड़ते हैं | ~ चेतन वर्मा ~ ©Chetan Verma

#Rose  चल सब कुछ छोड़ अब आगे बढ़ते हैं
बात-बात पर अब हम भी लड़ते हैं 
पतझड़ के भी नखरे अजीब है 
यह रोए तो पत्ते झड़ते हैं |

 ~ चेतन वर्मा ~

©Chetan Verma

#Rose

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#IndiaFightsCorona वक्त तो गुजर जाएगा... बुरा है दौर तो क्या बुरा है वक्त तो क्या वक्त है वक्त तो गुजर जाएगा ... हंसना भी होगा रोना भी होगा कल क्या होगा हमने ना सोचा वक्त है वक्त तो गुजर जाएगा ... महफिल हंसेगी अंधेरा भी मिटेगा जीने का हुनर फिर से लौट आएगा वक्त है वक्त तो गुजर जाएगा ... ©Chetan Verma

#IndiaFightsCorona  #IndiaFightsCorona वक्त तो गुजर जाएगा...

बुरा है दौर तो क्या
बुरा है वक्त तो क्या 
वक्त है 
वक्त तो गुजर जाएगा ...

हंसना भी होगा 
रोना भी होगा
कल क्या होगा
हमने ना सोचा 
वक्त है 
वक्त तो गुजर जाएगा ...

महफिल हंसेगी 
अंधेरा भी मिटेगा
जीने का हुनर 
फिर से लौट आएगा
वक्त है 
वक्त तो गुजर जाएगा ...

©Chetan Verma
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